इंडिया न्यूज(World Cancer Day): कैंसर जैसी बिमारी के नाम से ही लोग डरते है। कैंसर की शुरू में पहचान ना हो पाने पर यह जानलेवा बन जाता है। यही वजह है कि लोग इस नाम से भी डर जाते हैं। अगर एक बार किसी को कैंसर हो जाए तो इससे छुटकारा पाना बहुत ही मुश्किल होता है।
वर्ल्ड हेल्थ ऑर्गेनाइजेशन के अनुसान, वर्ष 2020 में कैंसर से एक करोड़ लोगों की जान गई थी। वहीं पूरी दुनिया में हर छह मौत कैंसर के कारण ही होती है। आज के समय में बिगड़ी लाइफस्टाइल के चलते यह खतरा और बढ़ जाता है। इनमें से एक है मुंह का कैंसर, जो सिगरेट, शराब, तंबाकू और गुटखे के सेवन से होता है। इसे ओरल कैंसर भी कहा जाता है।
किसी कहते हैं ओरल कैंसर?
मुंह का कैंसर मुंह के किसी भी हिस्से में हो सकता है। यह मुख्य रूप से होंठ, मसूढे, जीभ और गाल के अंदर वाले हिस्से में होता है। अगर यह मुंह के अंदर किसी भी हिस्से में होता है तो इसे ओरल कैंसर कहा जाता है।
शुरुआती लक्षण
अगर आपको मुंह के अंदर एक सफेद या लाल रंग का पैच दिखाई देता है तो यह मुंह के कैंसर का शुरुआती लक्षण है। इसमें दांतों के बीच ढीलापन आना, मुंह में लंप या गांठ होना, मुंह के अंदर दर्द महसूस होना, कान दर्द होना, खाना निगलने में परेशानी होना और होंठ या मुंह में घाव होने के बाद बहुता ज्यादा परेशानी होना शामिल है।
कैंसर होने का कारण
ओरल कैंसर में मुंह के अंदर टिश्यूज अपना रूप बदलने लगते हैं। वहीं, डीएनए में म्यूटेशन होने लगते हैं। डीएनए को नुकसान पहुंचता है। तंबाकू में मौजूद केमिकल मुंह के सेल्स को खराब करने लगता है।
कैंसर का कारण
सूर्य की UV किरणें, खाने में मौजूद टॉक्सिन कैंमिकल, रेडिएशन, अल्कोहल में मौजूद कैमिकल, बैंजीन और एस्बेस्टस होता है।
बचाव करने के तरीके
- तंबाकू का सेवन किसी भी तरह से नहीं करना चाहिए
- शराब का सेवन नहीं करना चाहिए
- बहुत ज्यादा धूप में रहने से बचें
- हमेशा अपने दांत का चेकअप कराएं
- हेल्दी डाइट का सेवन करें